कुल पेज दृश्य

बुधवार, 16 सितंबर 2015

क्या हकलाहट की 100 %ठीक कियाजा सकता हैं ?

               C. क्या हकलाहट की 100 %ठीक कियाजा सकता हैं ?; 
यह कहना गलत  होगा की हकलाहट को 100 %ठीक किया जा सकता है, यह कहना ज्यादा अच्छा होगा कि हकलाहट के डर को 100 %कंरटोल किया जा सकता हैं और पूर्णतः विजय पाया जा सकता हैं। दोस्तों हकलाहट हमारी समस्या नही हैं। जो डर पैदा होता हैं ,वह  हमारी वास्तवित  समस्या हैं। जैसे आँखो से आँखे मिलाकर बात करना ,अपनी बात को तोड़ -मरोड़ कर कहना , पर्यायवाची शब्द का उपयोग करना ,आँख बंद कर लेना ,ओठ चिपका लेना मुँह अधिक खोलना ,पैर पटकना हाथ हिलाना ,गर्दन हिलाना आदि ये हमारी समस्या हैं। इस पर 100 %काबू पाया जा सकता हैं और जब ये 100 %कंट्रोल हो जायेगे तब हकलाहट तो अपने आप काबू हो जायेगी। हकलाहट को अपना नौकर बनाना सीखना हैं। इसे अपने आप बस मे करके सखना ही उचित है। इसे हम दुश्मन मानते हैं। यदि आप दोस्त मानने लगेंगे तब आप पायेगे कि जितना अभी हकलाहट आने पर आपको खुशी होंगी। बस आवश्यकता हैं दोस्त बनाने की, अपना नजरिया बदलने की। आप अपना नजरिया हकलाहट के प्रति बदलिये। आप पायेगे कि ये दुनिया बड़ी सुहाबनी हैं.लोग आपकी आवाज सुनना चाहते है। अपने मिलना चाहते हैं,आपको प्यार करते के बाद आपकी दुनिया अलग होंगी और जो हकलाहट आपको सताती है वही आपको आगे बढ़ायेगी। आपको ईश्वर समस्य व्यक्ति से कुछ अधिक दिया हैं। वह अधिक हैं हकलाहट। इसे हम समझ नही पाये और दुश्मन मन गये। इसे भगवान का दिया गिपट मानिये कि ईश्वर आपको बहुत प्रेम करता हैं।
                                                        
    SMS से उन बातो को पूछिये जो इस परस्पेक्ट्स में न लिखी हों     


कोई टिप्पणी नहीं:

एक टिप्पणी भेजें